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Wednesday, August 31, 2011

सावन

मौसम आया लुभावना मनभावना

चलो सखी झूला झूलें |


झूला झुलाने सखी पी मेरे आये

तन मन हुआ लुभावना

चलो सखी झूला झूलें |


पड़ रही फुहारें सावन की

सावन की मन भावन की

मौसम बड़ा सुहावना

चलो सखी झूला झूलें |


मेघा गरजे रिमझिम बरसे

बिजली हिय में कोंधे

कोयल कूक लगावना

चलो सखी झूला झूलें |


धानी चूनर ओढ ली सखी

साजन के रंग में रंगी

प्रियतम प्रीत लुटावना

मन्द- मन्द मुस्कावना

चलो सखी झूला झूलें |



मोहिनी चोरडिया

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